गर्भवती महिलाओं को सेहतमंद रहने के लिए कुछ बातों को हमेशा याद रखनी चाहिए जैसे कि एक तो सही खानपान, दूसरा नींद और तीसरा व्यायाम। गर्भावस्था में रोजाना सुबह शाम की सैर काफी फायदेमंद होती है। प्रेगनेंसी में टहलने से ब्लड सर्क्यूलेशन सही रहता है। यह तनाव को कम करता है और साथ ही सामान्य प्रसव में भी मदद करता है। आइए जानते हैं प्रेगनेंसी के दौरान टहलने के फायदे (Benefits of Walking During Pregnancy)।
डॉक्टर सलाह देते हैं कि गर्भावस्था में भारी भरकम कसरत बिलकुल ना करें बल्कि इस दौरान टहलने पर ध्यान दें। गर्भावस्था के दौरान टहलने (pregnancy mein tahlane) से महिलाएं शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ रहती हैं। आइये प्रेगनेंसी में टहलने व पैदल चलने के फायदे जानते हैं।
गर्भावस्था के दौरान ज्यादातर महिलाएं तनावग्रस्त रहती हैं और इसमें उन्हें मूड स्विंग होना भी जानी मानी परेशानी है। आप कभी भी खुश हो सकती हैं और फिर एकदम से आपको गुस्सा आने लगता है जो कि आपका गर्भावस्था और आने वाले दिनों के बारे में सोच कर चिंता करने के कारण होता हैं। गर्भावस्था के दौरान टहलना बहुत फायदेमंद होता है। टहलना एक तरह का व्यायाम तो है ही साथ ही इससे तनाव भी कम होता है क्योंकि टहलने से आपके शरीर मैं ज्यादा एंडोर्फिंस बनते हैं जिससे आपका मन खुश रहेगा और शरीर में सकारात्मकता भी बनी रहेगी। यह भी माना जाता है कि इससे आपका बच्चा भी स्वस्थ रहता है।
गर्भावस्था के दौरान दवाइयों की वजह से या फिर दूसरे कई कारणों से कब्ज की समस्या बनी रहती है जिसके चलते आपको कई और समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इसकी वजह से आप हर समय थकान महसूस करती है। अगर आप कब्ज जैसी समस्या से छुटकारा पाना चाहती हैं तो रोजाना 15 से 20 मिनट तक वॉक करें। टहलने से आपको कब्ज की समस्या में मदद मिलेगी।
गर्भावस्था के दौरान कई लोगों का मानना होता है कि गर्भवती महिला को हमेशा आराम करना चाहिए लेकिन ऐसा करना ना तो एक मां के लिए उचित है और ना ही उसके गर्भ में पल रहे बच्चे के लिए। रोज टहलना आपके पूरे शरीर के लिए एक अच्छा व्यायाम होता है। हर रोज टहलने से आपकी सुबह होने वाली थकान और कमजोरी को दूर किया जा सकता है और आपका शरीर तरोताजा और हृदय स्वस्थ रहता है। इससे आपके शरीर की मांसपेशियां भी मजबूत बनती है और यह भी माना जाता है कि मां के टहलने से शिशु की कसरत भी हो जाती है।
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गर्भावस्था के दौरान टहलने से ना सिर्फ आपका शरीर चुस्त रहता है बल्कि इससे आपके कूल्हे की मसल भी मजबूत होती है और यदि आपके मसल मजबूत है तो आपका प्रसव कम दर्द और आराम से हो जाता है। सुबह-सुबह चलना आपके लिए काफी अच्छा माना जाता है जिससे आपका जी भी नहीं मिचलेगा और आपमें पूरा दिन ऊर्जा भी बनी रहेगी। इससे आपकी मांसपेशियां लचीली बनी रहेगी जो सामान्य प्रसव की संभावना को बढ़ा देती है।
गर्भावस्था के दौरान टहलने से से महिला का शरीर पूर्णता स्वस्थ रहता है और माना जाता है कि मां का शरीर अगर स्वस्थ है तो उसके गर्भ में पल रहे शिशु का शरीर भी स्वस्थ रहेगा। इसके अलावा टहलने से शिशु का वजन भी सामान्य रहता है और टहलने से शरीर में रक्त का स्तर भी सही रहता है जो शिशु के स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होता है।
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गर्भावस्था में कई तरह के हार्मोन में बदलाव आते हैं और साथ ही रक्तचाप भी काफी बढ़ जाता है। रक्तचाप का बढ़ा हुआ होना मां और शिशु दोनों के लिए खतरनाक होता है। रोजना टहलने से आपका रक्तचाप सामान्य रहता है। इसके अलावा रोज सुबह की सैर आपके फेफड़ों में शुद्ध श्वास का प्रवाह पैदा करती है। इससे आपके शरीर में ऑक्सीजन से भरा रक्त पैदा होता है और शरीर की रक्त कोशिकाओं का भी पुनः निर्माण होता रहता है।
गर्भावस्था के दौरान हाई ब्लड प्रेशर होने के कारण टाइप टू डायबिटीज होने की संभावना रहती है जिसकी वजह से समय से पहले प्रसव का खतरा हो जाता है और बच्चा भी मोटापे का शिकार होता है लेकिन यदि महिला गर्भावस्था के दौरान नियमित रूप से हल्के व्यायाम करती है या फिर चलती है तो उनका रक्तचाप नियंत्रण में रहता है जो जेस्टेशनल डायबिटीज के खतरे को कम करता है। इसके अलावा यह आपके शरीर का वजन भी ठीक करता है जिससे आपका कोलेस्ट्रॉल भी नियंत्रण में रहता है।
गर्भावस्था के दौरान नींद का न आना एक आम समस्या है लेकिन यदि आप रोजाना नियमित रूप से टहलती है तो आपको नींद अच्छी आएगी जिससे आपको पूरा दिन स्फूर्ति महसूस होगी। इसके अलावा गर्भावस्था में शरीर में दर्द होना एक आम समस्या है क्योंकि इस समय आपका शरीर बढ़ता है और हार्मोन में बदलाव भी होते हैं जिसके कारण दर्द होता है। शारीरिक कार्य और व्यायाम कम होने की वजह से दर्द और बढ़ जाता है लेकिन यदि आप रोजाना नियमित रूप से कुछ देर के लिए टहलती है तो यह सारी कमी पूरी कर देता है जिससे आपका शरीर चुस्त भी होगा और आपके शरीर में दर्द कम होगा।
यह (Pre-Eclampsia) एक ऐसा गर्भावस्था का लक्षण है जो उच्च रक्तचाप और यूरिन में प्रोटीन के बढ़ने के संकेत देता है। टहलने से वजन नियंत्रण में रहता है और कोलेस्ट्रोल भी कम करने में मदद करता है जिससे रक्तचाप का सतर संतुलित रहता है। इस कारण टहलना प्री एक्लेंपसिया (Pre-Eclampsia) के कारण होने वाले प्रीमेच्योर लेबर के खतरे को कम करता है।
नियमित रूप से टहलने (pregnancy mein tahlane) से आप स्वस्थ रहते हैं और इसके साथ-साथ आप कई अन्य समस्याएं भी हैं जिनसे आपको छुटकारा मिल जाता है जैसे कि थकान, नस में खून जमना, जी मिचलाना, एठंन आदि। इसलिए आप गर्भावस्था के दौरान पूरे उत्साह और एनर्जी के साथ सुबह और शाम दोनों समय कुछ देर के लिए रोजाना टहला करें। इससे आपका और आपके होने वाले शिशु का सिर्फ शारीरिक स्वास्थ्य ही ठीक नहीं रहेगा बल्कि मानसिक विकास भी अच्छा होगा। परंतु आप जब भी टहलना शुरू करें एक बार अपने डॉक्टर से जरूर परामर्श कर ले कि आपको रोजाना कितने कदम और कितनी देर के लिए चलना चाहिए।
गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को दिन में दो बार कम से कम पन्द्रह मिनट के लिए अवश्य टहलना चाहिए। आप अपने घर के आसपास ही टहल सकती हैं। एक बात और तीसरे ट्राइमेस्टर में टहलते हुए हमेशा अपने साथ किसी को अवश्य रखें क्योंकि इस समय कई बार चक्कर आने या बेहोशी की संभावनाएं रहती हैं।
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